जिला पदाधिकारी ने घोड़परास एवं जंगली सुअर द्वारा कृषि सफल की क्षति को नियंत्रित करने के लिए की बैठक। बैठक में सर्वप्रथम यह पाया गया कि जिले में जंगली सूअर एवं घोड़परास के द्वारा व्यापक पैमाने पर फसल को क्षति पहुंचाया जा रहा है , जिससे किसानों को नुकसान झेलना पड़ रहा है। बैठक में वन प्रमंडल पदाधिकारी के द्वारा बताया गया की घोड़परास एवं जंगली सूअर का आखेट करने एवं उनके शवो
का निष्पादन करने के संबंध में पर्यावरण वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग एवं पंचायती राज विभाग का संयुक्त दिशा निर्देश प्राप्त हो चुका है।
जिला अधिकारी योगेंद्र सिंह ने बताया कि इस संयुक्त दिशा निर्देश के आलोक मे सभी मुखिया सूचीबद्ध निशानेबाजों के द्वाराघोड़परास एवं जंगली सूअर की हत्या का निर्णय लेने के लिए स्वतंत्र हैं । जिला अधिकारी ने यह भी बताया कि जिले में बड़े पैमाने पर सब्जियां उगाई जाती हैं और ये जानवर कई बार सब्जियों को नष्ट कर देते हैं। जिला पदाधिकारी ने बताया कि ऐसी स्थिति में सभी मुखिया इन मामलों में कार्रवाई करने के लिए स्वतंत्र हैं, वन विभाग ने इस उद्देश्य के लिए निशानेबाजों को भी सूचीबद्ध किया है, जिनसे वे मदद ले सकते हैं।
भुगतान के संबंध में जिला पंचायती राज पदाधिकारी ने बताया की, इस संबंध में भुगतान के लिए ई ग्राम स्वराज पोर्टल पर एक विशिष्ट शीर्षक भी बनाया गया है जिससे इस कार्य में भुगतान में किसी प्रकार की समस्या नहीं आएगी। इसके अलावा जिला अधिकारी ने सभी अनुमंडल पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे अपने क्षेत्राधिकार में आने वाले सभी पुलिस अधिकारियों को इस अभ्यास के बारे में पहले से सूचित कर दें ताकि अनावश्यक घबराहट से बचा जा सके ।इसी प्रकार सभी मुखियाओं को भी निर्देश दिया गया कि वे इस कार्यवाही के बारे में संबंधित थानों को पहले से सूचित कर दें।
बैठक में जिला पदाधिकारी के अलावा, वन प्रमंडल पदाधिकारी , जिला पंचायती राज पदाधिकारी, अनुमंडल पदाधिकारी(समस्तीपुर), अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी(समस्तीपुर) एवं विभिन्न विभागों के पदाधिकारी सभा कक्ष में मौजूद थे , वहीं सभी अनुमंडल पदाधिकारी, अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी, प्रखंड विकास पदाधिकारी एवं संबंधित जनप्रतिनिधि वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक में जुड़े थे।